बदायूँ: संतोषजनक जवाब न मिलने पर डीएम ख़फा, कानूनगो एवं लेखपाल के स्थानांतरण के निर्देश दिये ।
बदायूँ : जहां जिला प्रशासन एक ओर बाढ़ से निपटने के लिए पूरी मुश्तैदी के साथ कार्य कर रहा है, तो वहीं दूसरी ओर प्रशासन द्वारा चिन्हित भूमि पर भूमाफियाओं ने कब्जा जमाना रखा है। डीएम को जैसे ही इस बात की जानकारी हुई। उन्होंने भूमाफिया को एफआईआर दर्ज कर तुरंत हवालात में डालने के निर्देश दिए है, साथ ही इस प्रकरण में कानूनगो और लेखपाल को संदिग्ध पाए जाने पर कड़ी फटकार लगाते हुए उनके स्थानांनतरण के भी निर्देश दिए हैं। इसी कड़ी में डीएम ने बाढ़ आशंका ग्रस्त ग्रामों का निरीक्षण कर सम्बंधित अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिए साथ ही उन्हें आपदा जैसी स्थिति होने पर किस प्रकार राहत व बचाव का कार्य किया जाएगा, इसका भी डीएम ने स्थलीय निरीक्षण किया।

शुक्रवार को जिलाधिकारी दिनेश कुमार सिंह ने विकास खण्ड उसावां के बाढ़ आशंका जटा, असमया रफतपुर एवं अहमदनगर बछेड़ी का निरीक्षण किया। यहां के वाशिन्दों को सुरक्षित स्थान पर बसाने के लिए सरेेेली के पास 30 बीघा जमीन का चिन्हांकन किया गया था, परन्तु अब उस ज़मीन पर उरौलिया गांव के भूमाफिया अली दराज ने कब्जा कर लिया है। डीएम ने कड़ी नाराजी व्यक्त करते हुए एसएचओ उसहैत को निर्देश दिए कि उक्त भूमाफिया को तत्काल हवालात में किया जाए। कानूनगो रामबाबू सिंह और लेखपाल अशोक सोलंकी को तलब कर पूछा तो दोनों संतोषजनक उत्तर नहीं दे पाए। डीएम ने संदिग्ध पाए जाने पर दोनों की कड़ी फटकार लगाते करते हुए स्थानांनतरण के निर्देश दिए हैं। उन्होने कहा कि ग्राम जटा में कटान को रोकने के लिए लेखपाल स्टीमेट बनाकर दें शासन से पैसा मांगा जाएगा। उन्होंने कहा कि किसान डीसी मनरेगा के निर्देशन में अपने खेतों की मेड़ पर 15 जून से पेड़ लगाएं। उन्होंने तहसीलदार को निर्देश दिए कि नाविक बड्डे का भुगतान प्राथमिकता के तौर पर तत्काल किया जाए। असमया रफतपुर में शासकीय योजनाओं की जानकारी दी। उन्होंने ग्रामीण से कहा कि 19-20 जून को राशन वितरण के दिन जिस कार्ड धारक को खाद्यान न मिले वह वहीं से फोन करे, उसकी समस्या का निदान तत्काल किया जाएगा। डीएम ने निर्देश दिए कि राहत सामग्री का वितरण समय से किया जाए तथा नाव व नाविकों की पर्याप्त मात्रा सुनिश्चित की जाए। बाढ़ आशंका ग्रस्त ग्रामों का चिन्हांकन कर ग्रामीणों को सुरक्षित व ऊँचें स्थान पर हमेशा के लिए बसाया जाए। प्रत्येक गांव में चार-चार ग्रामीणों की एक समिति बना दी है जो अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व महेन्द्र सिंह को समय-समय पर स्थिति की जानकारी देते रहेंगे। इस समिति का दायित्व है कि गांव का कोई भी बच्चा शिक्षा से वंचित न रहे, प्रत्येक बच्चा रोज स्कूल जाए। जिन लाभार्थियों को योजनाओं का लाभ मिलने में यदि किसी समस्या का सामना करना पड़ रहा हो, ऐसे लोगों की सूची बनाकर उपलब्ध कराई जाए। उन्होंने कोटेदारों को निर्देश दिए कि कार्ड धारकों को निर्धारित मानक के अनुसार खाद्यान उपलब्ध कराया जाए। उन्होंने निर्देश दिए कि तीन लेखपाल और एक कानून गांवों में जाकर निरीक्षण करें कि ग्रामीणों का राशन कार्ड, विधवा, वृद्धावस्था व विकलांग पेंशन नहीं है, उसे प्राथमिकता के तौर पर बनाया जाए। उन्होंने बैंक अधिकारियों को निर्देश दिए कि ग्रामीणों का खाता खोलकर उसमें एक रुपए प्रतिमाह व प्रतिदिन का ग्रामीणों का बीमा अवश्य किया जाए। उन्होंने ग्रामीणों से कहा कि सरकार द्वारा संचालित योजनाएं पूर्णतयः निःशुल्क है, इसके लिए किसी बिचौलिए व दलाल के चक्कर में न पड़ें। सभी लोग अपने बैंक खाते अवश्य खुलवा लें। योजनाओं का पैसा सीधा बैंक खाते में पहुँचेगा। इस अवसर अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व महेन्द्र सिंह सहित समस्त विभागीय अधिकारी मौजूद रहे।