बदायूँ: सभी लोग खुले में शौच न जाने का लें संकल्प : डीएम

बदायूँः स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत जनपद को निर्धारित मानकों के अनुसार शौचालय बनाकर ओडीएफ करना है। प्रत्येक गांव की प्रथम प्राथमिकता है कि शौचालय होना जरूरी है। शौचालय निर्धारित मानकों के अनुसार न बनाने पर धनराशि की वापसी होगी। प्रधान पति पलिया झंडा के 30 जुलाई तक अपना गांव ओडीएफ करने के लिए वादा किया। समस्त लोगों ने संकल्प लेकर कहा कि न खुले में शौच करेंगे और न ही किसी को करने देंगे। अध्यापक एक-एक बच्चे का हिसाब रखें कि कोई भी बच्चा खुले में शौच करने न जाए। शासकीय योजनाओं का लाभ तभी मिलेगा जब घर में शौचालय होगा। रक्षाबंधन में भाई अपनी बहन को राखी बांधने पर शौचालय अवश्य दें। महान कार्य में हर व्यक्ति की सहभागिता होना बहुत जरूरी है। आंगनबाड़ी आशा की जिम्मेदारी है कि घर-घर जाकर महिलाओं को शौचालय इस्तेमाल करने के लिए प्रेरित करें। एक व्यक्ति एक वृक्ष योजना के अंतर्गत प्रत्येक व्यक्ति एक एक पेड़ अवश्य लगाएं।
बुधवार को स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण के अंतर्गत खुले में शौच मुक्त महा अभियान में पंचायत प्रतिनिधियों, जनसहभागिता एवं ग्रामीण स्तर पर कार्यकर्ताओं की सक्रिय भागीदारी हेतु जिलाधिकारी दिनेश कुमार सिंह ने विकासखंड सालारपुर में कार्यक्रम आयोजित किया। उन्होंने कहा कि गांव की प्रथम प्राथमिकता है कि प्रत्येक घर में शौचालय हो और उसका प्रयोग हो। कोई भी व्यक्ति खुले में शौच करने नहीं जाएगा। खुले में शौच करने से विभिन्न प्रकार की बीमारियां फैलती है। शौचालय बन जाने से गांव ओडीएफ नहीं हो जाएगा जब तक सभी लोग शौचालय का इस्तेमाल नहीं करेंगे। सभी लोग शौचालय बनाकर उसका इस्तेमाल करें। उन्होंने कहा कि निगरानी समिति यह सुनिश्चित करेगी कि जिस घर में शौचालय नहीं है वह शौच के लिए खुरपी साथ लेकर जाए और शौच को ढककर आए। उन्होंने कहा कि नोडल अधिकारी गांव में 5 घंटे रुकेगा इसके साथ में प्रधान अध्यापक आंगनबाड़ी कार्यकत्री एवं आशा स्वच्छाग्रही किसान सहायक सफाई कर्मचारी कोटेदार सहित अन्य संबंधित सभी अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहकर लोगों को खुले में शौच करने से होने वाली बीमारियां तथा हानियों के बारे में बताकर लोगों को प्रेरित करेंगे कि प्रत्येक घर में शौचालय बना हो और उसका प्रयोग भी हो रहा हो। उन्होंने कहा कि गांव के सभी लोग मिलकर यह तय करें कि कोई भी व्यक्ति खुले में शौच करने नहीं जाएगा एक भी व्यक्ति खुले में शौच करने गया तो समझो पूरा गांव बीमारियों की चपेट में रहेगा। शौचालयों का निर्माण गुणवत्ता पूर्वक किया जाए ऐसा न करने वाले लाभार्थियों से धनराशि वसूली जाएगी। सभी शौचालय मानक के अनुसार ही बनाए जाएं, जिससे पर्यावरण प्रदूषित नहीं होता है। उन्होंने कहां की रक्षाबंधन के त्यौहार पर भाई अपने बहन को राखी बांधने पर शौचालय जरूर दें ऐसे भाइयों को कलेक्ट्रेट में बुलाकर सम्मानित किया जाएगा। गांव के पात्र लोगों के बेसलाइन सर्वे में नाम न होने पर उनके शौचालय मनरेगा एवं श्रम विभाग द्वारा बनवाए जाएं। उन्होंने कहा कि जनपद में लगे कलंक को मिटाकर रहना है इसमें सभी लोगों की सहभागिता सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि जब तक समाज शिक्षक नहीं होगा तब तक विभिन्न प्रकार की कुरीतियां दूर नहीं होंगी। सभी लोग अपने बच्चों को विद्यालय पढ़ने अवश्य भेजें। अध्यापक की जिम्मेदारी है कि किसी भी गांव में कोई भी बच्चा शिक्षा से वंचित नहीं रहना चाहिए। उन्होंने कहा कि सबसे मजबूत पढ़ाई इन्हीं प्राथमिक विद्यालयों में होती है। अध्यापक बच्चों को संस्कारिक शिक्षा दें। डीएम ने सभी लोगों से अपील की कि एक व्यक्ति एक वृक्ष योजना अंतर्गत सभी लोग अपने-अपने घरों में पेड़ अवश्य लगाएं, जिससे अपना पर्यावरण प्रदूषण कम होगा और सभी लोग स्वस्थ रहेंगे। वृक्षों से मानव के लिए शुद्ध हवा मिलती है और मानव की गंदी हवा वृक्ष ग्रहण करते हैं। सभी व्यक्तियों को किसी न किसी की याद में वृक्ष अवश्य लगाना चाहिए। उन्होंने सभी लोगों को संकल्प दिलाया कि गांव को खुले से शौच मुक्त करें, अपने बच्चों को स्कूल पढ़ने भेजें तथा प्रत्येक व्यक्ति वृक्षारोपण अवश्य करें। इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी संदीप कुमार, जिला विकास अधिकारी देवेंद्र प्रताप, जिला विद्यालय निरीक्षक राममूरत एवं खंड विकास अधिकारी राम सागर यादव सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।

 

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